Farmers Protest Delhi: संयुक्त किसान मोर्चा के 13 फरवरी को दिल्ली कूच से पहले हरियाणा और पंजाब के शंभू, खनौरी समेत सभी बॉर्डर सील कर दिए गए हैं। प्रशासन द्वारा की जा रही तैयारी की वीडियो सोशल मीडिया पर आलोचना की शिकार हो रही है। दरअसल, वीडियो में प्रशासन किसानों को रोकने के लिए नदी में गड्डों से लेकर सड़कों पर किले, बैरिकेड्स आदि लगा चुके हैं। किसानों के कूच को लेकर दिल्ली पुलिस भी हाईअलर्ट पर है। इसके लिए तैयारी कर रहे हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक पुलिस आंसू गैस के गोले छोड़ने का अभ्यास करती दिखी।
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हरियाणा के 7 जिलों में आज (रविवार) सुबह 6 बजे से मोबाइल इंटरनेट, डोंगल और बल्क SMS बंद कर दिए गए हैं। यह रोक अंबाला, हिसार, कुरुक्षेत्र, कैथल, जींद, फतेहाबाद और पुलिस जिला डबवाली समेत सिरसा जिले रहेगी। यह आदेश 13 फरवरी की रात 12 बजे तक लागू रहेंगे।
हरियाणा के सोनीपत, झज्जर, पंचकूला, अंबाला, कैथल, हिसार, सिरसा, फतेहाबाद और जींद समेत 12 जिलों में धारा 144 लागू की गई है। इसके साथ पंजाब और दिल्ली के रूट भी डायवर्ट कर दिए गए हैं। केंद्र सरकार ने पैरामिलिट्री की 64 कंपनियों को हरियाणा भेज दिया है। जिनमें BSF और CRPF के जवान भी शामिल हैं।
सरकार अपनी तैयारी कर रही है, हम ने अपनी तैयारी कर दी है। पंजाब के कोने-कोने से जत्थे रवाना हो रहे हैं, हरियाणा में गाँवों-गाँवों में पंचायत हो चुकी हैं। 13 फरवरी को किसान पंजाब-हरियाणा बॉर्डर को पार कर के दिल्ली कूच करेंगे।#FarmersProtest2024#FarmerProtest pic.twitter.com/p6iH7gYGfM
— Harendra Singh (ताऊ )हरेन्द्रताऊ (@Harendratauu) February 11, 2024
Farmers are ready to leave for Delhi, for our fundamental right, for MSP Guarantee Law ! #FarmersProtest2024 #FarmerProtest2 pic.twitter.com/jJoTtS6Tk8
— Ramandeep Singh Mann (@ramanmann1974) February 11, 2024
स्टेडियम में टेंपरेरी जेलें बनाई गई
किसानों से निपटने के लिए हरियाणा के सिरसा के चौधरी दलबीर सिंह इंडोर स्टेडियम और गुरू गोबिंद सिंह स्टेडियम, सिरसा रोड, डबवाली में 2 टेंपरेरी जेलें बना दी गई हैं। चंडीगढ़ में भी धारा 144 लगा दी गई है। जुलूस प्रदर्शन के साथ ट्रैक्टर रैली निकालने पर भी खास रोक लगाई गई है। दिल्ली के गाजीपुर से सटे बॉर्डर के इलाके में दिल्ली पुलिस ने धारा 144 लगा दी है। यहां से यूपी के किसान एंट्री कर सकते हैं।
चौधरी चरण सिंह जी को भारत रत्न देने वाली सरकार ने किसान आंदोलन को रोकने के लिए कीलें गाड़ दी है ।
प्रधानमंत्री @narendramodi जी के इन्हीं कामों में तो @jayantrld को चौ चरण सिंह जी की झलक दिखती है।#FarmersProtest2024 pic.twitter.com/KTN6c3Xzhe
— DU JAT STUDENTS UNION (@du_jat) February 11, 2024
12 फरवरी को चंडीगढ़ में मीटिंग-किसान बोले हम बातचीत से नहीं भागेंगे
किसान-मजदूर मोर्चा के कोऑर्डिनेटर सरवण सिंह पंधेर ने कहा कि अमृतसर में पंजाब सरकार के सीनियर अफसरों से मीटिंग हुई। जिसमें कहा गया कि 12 फरवरी को चंडीगढ़ में केंद्र के 3 मंत्रियों के साथ मीटिंग होगी। हरियाणा में इंटरनेट बंद करना उचित नहीं है। उन्होंने देश भर के किसान-मजदूरों को अपील की कि 13 फरवरी को दिल्ली कूच करें और आर-पार की लड़ाई लड़ेंगे। हम अपनी मांगें मनवाकर रहेंगे। हम बातचीत से नहीं भागेंगे।
दिल्ली जाने से पहले किसानों को उकसाकर माहौल बना रही है सरकार
पंजाब के किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने कहा कि हमें बातचीत के लिए कह रहे हो तो हरियाणा के हालात क्यों बिगाड़ रहे हो। पहले ही बैरिकेडिंग क्यों की जा रही है। किसानों की बातों का हल न हो तो बैरिकेडिंग करनी चाहिए। इंटरनेट बंद कर लोगों को परेशान क्यों किया जा रहा है? उन्होंने कहा कि इससे ऐसा लगता है कि सरकार खुद किसानों को उकसाकर माहौल को टकराव वाला बनाकर बातचीत से भागना चाहती है। अगर हालात ऐसे बनते हैं और खराब होते हैं तो इसकी जिम्मेदारी खट्टर सरकार होगी।
कितने संख्या में आएंगे दिल्ली किसान
13 फरवरी को पंजाब के किसान 10 हजार ट्रैक्टर ट्रॉलियों पर दिल्ली जाने के लिए हरियाणा में दाखिल होने की संभवना है। इसके लिए शंभू बॉर्डर, डबवाली और खनौरी बॉर्डर को चुना गया है। अंबाला में आपात स्थिति से निपटने व कानून व्यवस्था बनाने के लिए चार कंपनियां एल्फा, ब्रेवो, चार्ली व डेल्टा का गठन किया गया है। चारों कंपनियों में 428 जवान होंगे। हरियाणा को और 14 कंपनियां केंद्र ने दी हैं। अब कुल मिलाकर 64 कंपनियां किसान आंदोलन को लेकर हरियाणा पहुंच गई हैं।
क्या हैं किसानों की मांगे
- सभी फसलें MSP पर खरीदी जाएं, MSP गारंटी कानून बनाई जाएं और स्वामीनाथन आयोग की रिपोर्ट के अनुसार फसलों के भाव तय किए जाएं.
- किसानों और मजदूरों की पूर्ण कर्जमुक्ति की जाए.
- भूमि अधिग्रहण अधिनियम 2013 को पूरे देश में फिर से लागू किया जाए. भूमि अधिग्रहण से पहले किसानों की लिखित सहमति और कलेक्टर रेट से 4 गुना मुआवजा देने की व्यवस्था हो.
- लखीमपुर खीरी नरसंहार के दोषियों को सजा और पीड़ित किसानों को न्याय मिले.
- विश्व व्यापार संगठन से भारत बाहर आए. सभी मुक्त व्यापार समझौतों पर रोक लगाई जाए.
- किसानों और खेत मजदूरों को पेंशन दी जाए.
- दिल्ली किसान आंदोलन में शहीद हुए किसानों के परिजनों को एक लाख का मुआवजा और नौकरी दी जाए.
- विद्युत संशोधन विधेयक 2020 को रद्द किया जाए.
- मनरेगा से प्रति वर्ष 200 दिन का रोजगार, 700 रुपये का मजदूरी भत्ता दिया जाए. मनरेगा को खेती के साथ जोड़ा जाए.
- नकली बीज, कीटनाशक दवाइयां, खाद बनाने वाली कंपनियों पर सख्त दंड और जुर्माने का प्रावधान हो और बीजों की गुणवत्ता में सुधार किया जाएं.
- मिर्च, हल्दी और अन्य मसालों के लिए राष्ट्रीय आयोग का गठन किया जाए.
- संविधान की 5 सूची को लागू किया जाए और जल, जंगल, जमीन पर आदिवासियों के अधिकार सुनिश्चित करते हुए आदिवासियों की जमीन की लूट बन्द की जाए.
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