शाहपुरा शाहपुरा जिला मुख्यालय पर शाहपुरा नवगठित जिले बनने के पश्चात पहले फूलडोल महोत्सव एवं अंतर्राष्ट्रीय रामस्नेही संप्रदाय के रामचरण जी महाराज का महाकुंभ मेला महोत्सव जिसमें देश-विदेश से प्रतिदिन लाखों श्रद्धालु शाहपुरा की तपस्वी की पवित्र पावन धरती को नमन करने एवं धरती की रज मिट्टी को माथे से लगाने को हर वर्ष आते हैं एवं धार्मिक कार्यक्रमों में भाग लेने लगभग ढाई सौ सालो से भगवान शंकर पार्वती द्वारा दिवंगत आचार्य रामचरण जी महाराज पर राम नाम के तप से प्रभावित होकर पुष्प वर्षा करके ब्रह्मांड में शाहपुरा के रामस्नेही सम्प्रदाय का अन्तरराष्ट्रीय महाकुंभ फूलडोलमहोत्सव आरंभ हुआ 25 दिवसीय धार्मिक कार्यक्रम आयोजित होते हैं वर्तमान में मुख्यतः पांच दिवसीय एकम से पंचमी तक का महाकुंभ महोत्सव मनाया जाता है बाकी दिनों में धर्म अनुसार एवं परंपरा गत कार्यक्रम आयोजित होते हैं होलिका दहन के पश्चात वर्तमान आचार्य स्वामी रामदयाल जी महाराज द्वारा धार्मिक सभा में प्रवचन देते हैं एवं परंपरा रीति रिवाज के अनुसार भगवान प्रहलाद की कथा का वाचन किया जाता है एवं एकम से धार्मिक कार्यक्रमों के साथ भारत से रामसनेही अपनी मुख्य पीठ रामनिवास धाम में आकर अपने ज्ञान से धार्मिक अनुयायियों को लाभान्वित करते हैं मेले में दूरदराज से भक्तों का आना जारी है।
जत्थों के साथ गाजेबाजे के साथ रामधुनी गाते व नाचते-गाते जयकारे लगाते यात्री फूलडोल महोत्सव मनाने आ रहे हैं। रामस्नेही सम्प्रदाय के स्वामी रामचरण महाराज के समय से ही फूलडोल का मेला आयोजित हो रहा है। संवत 1874 को रामनिवास धाम की स्थापना काटी गांव से प्राप्त सफेदपत्थरों से हुई। फूलडोल महोत्सव में रामचरण महाराज की समाधि ‘ स्तम्भजी ‘ कम्बल,माला, लंगोटी, आड़गन्द आदि के दर्शन के लिए भक्त मेले में आते हैं। मेले में वाणी का वाचन, रामभजन, रात्रि जागरण, विचार गोष्ठी, दीक्षा समारोह, आचार्य का चातुर्मास, संतों का अभ्यर्थना, स्नेह मिलन आदि कार्यक्रम होते हैं। संवत 1826 में राजा रणसिंह केआग्रह पर स्वामी रामचरण महाराज शाहपुरा आए तथा 225 शिष्य बनाए व रानी राजावत ने अपने नाम से कक्ष बना कर दिया। संवत 1855 में उनकी मृत्यु हुई। अब तक पन्द्रह संत रामनिवास धाम के आचार्य हुए हैं। गौरतलब है कि सरकार द्वारा महोत्सव के जरिए देशी-विदेशी सैलानियों के आने से शाहपुरा को पर्यटन क्षेत्र घोषित करने की कवायद चल रही है। पैनोरमा के लिए सरकार द्वारा राशि स्वीकृत की जा चुकी है।
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