उत्तर प्रदेश: समाजवादी पार्टी की पारिवारिक कलह एकबार फिर नजर आई। आज हुई लखनऊ में अखिलेश-राहुल की सयुंक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस के बाद कुछ ही घंटे बाद मुलायम सिंह ने गठबंधन को ग़ैरजरूरी करार दिया। मुलायम सिंह ने कहा कि वह कांग्रेस और समाजवादी पार्टी के बीच हुए गठबंधन के खिलाफ हैं। कांग्रेस को समाजवादी पार्टी ने 105 सीटें दी हैं। मुलायम ने कहा कि इन 105 सीटों पर उनके कार्यकर्ता और नेता चुनाव लड़ते।
आगे उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने देश पर इतने दिनों तक राज किया इसीलिए भारत पिछड़ गया। अखिलेश के पिता मुलायम सिंह ने कहा कि वह इस गठबंधन के पक्ष में चुनाव प्रचार नहीं करेंगे। मुलायम सिंह ने कहा कि समाजवादी पार्टी यूपी चुनाव अकेले जीतने में सक्षम थी।
उन्होंने अपनी ही पार्टी से सवाल पूछा, ”हमारे जो नेता हैं, जिनके टिकट कटे हैं, वो अब क्या करेंगे? उन्होंने पांच साल के लिए मौका गंवा दिया। मैं कांग्रेस के साथ समझौते के खिलाफ हूं। मैं समझौते के पक्ष में प्रचार नहीं करूंगा। समाजवादी पार्टी में कई ऐसे मुद्दे हैं जिनके खिलाफ मुझे संघर्ष करना पड़ा।
बता दें आपको इससे पहले साझा प्रेस कॉन्फ्रेंस में राहुल गांधी ने उत्तर प्रदेश में सत्तारूढ़ समाजवादी पार्टी के साथ गठबंधन को देश में गुस्से की और विभाजनकारी राजनीति करने वालों को दिया गया ‘उत्तर’ ठहराया।
राहुल ने कहा, ‘उत्तर प्रदेश का पहला शब्द है उत्तर…हमारा गठबंधन उन लोगों को हमारा उत्तर है, जो गुस्से और विभाजन की राजनीति करते हैं। यह सपा, कांग्रेस और उत्तर प्रदेश की जनता का उन ताकतों को जवाब है। यूपी के डीएनए में गुस्सा नहीं है, उसमें भाईचारा, प्यार और प्रगति है। मुख्यमंत्री अखिलेश ने इस गठबंधन को जनता का गठबंधन करार देते हुए कहा कि यह प्रदेश को विकास के रास्ते पर और आगे ले जाएगा।
राहुल ने कहा कि वह नए तरह की राजनीति करना चाहते हैं और युवाओं को विकल्प देना चाहते हैं. सपा के साथ कांग्रेस का गठबंधन ‘अवसरवादी गठबंधन’ नहीं, बल्कि दिल का गठबंधन है। चुनाव प्रचार में सपा संस्थापक मुलायम सिंह यादव और कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को शामिल किया जाएगा या नहीं, इस सवाल पर अखिलेश ने कहा, ‘दोनों का आशीर्वाद बना रहे, तो भी जीत मिल जाएगी।