नई दिल्ली: देश में 5 साल की उम्र तक के बच्चों को सेहत को लेकर एक सकारात्मक जानकारी सामने आई है। मंगलवार को जारी राष्ट्रीय परिवार स्वास्थ्य सर्वे की चौथे चरण की रिपोर्ट के मुताबिक देश के बच्चों का स्वास्थ्य 10 साल में बेहतर हुआ है। मृत्यु दर, डायरिया, टीकाकरण, खून की कमी, वजन और ऊंचाई जैसे मामलों में बच्चों का स्वास्थ्य अब तक के सबसे बेहतर स्तर पर है। 2005-06 से 2015-16 के दौरान एक साल के कम उम्र के बच्चों की मृत्यु दर में 28% जबकि 5 साल से कम उम्र के बच्चों की मृत्यु दर 48% तक घटी है।
हालांकि एक साल तक के बच्चों की मौत के मामले में छत्तीसगढ़ और 5 साल तक के बच्चों के मामले में मध्यप्रदेश देश में सबसे बदतर है। छत्तीसगढ़ में एक हजार में से 54 बच्चों की मौत एक साल से पहले हो जाती है, जबकि मध्यप्रदेश में हजार में से 65 बच्चे पांचवां जन्मदिन भी नहीं मना पाते। इस मामले में केरल देश में सबसे बेहतर है।
शिशु मृत्यु दर: 1 साल तक के 1000 बच्चों में से 59 बच्चों को बचा लिया
पिछले 10 साल में जन्म लेने वाले एक हजार बच्चों में से 41 की मौत एक साल से पहले हो जाती है। जबकि 2005-06 में ऐसे बच्चों की संख्या 57 थी। यानी अब प्रति एक हजार बच्चों में से 59 को बचा लिया जाता है। हालांकि 5 साल तक के बच्चों के मामले में इसमें 10 साल में 48% तक सुधार हुआ और यह 74 से घटकर 50 तक गया है।
एनीमिया: 10 साल में 11% गिरावट
रिपोर्ट के मुताबिक देश में 5 से 6 साल की उम्र के 58.4% बच्चे खून की कमी से जूझ रहे हैं। 10 साल में इसमें करीब 11% की गिरावट दर्ज की गई है। 2005-06 में ऐसे बच्चों का आंकड़ा 69.4% था।
टीकाकरण: 10 साल में 18.5% सुधार
देश में 12 से 23 महीने के 62% बच्चों का टीकाकरण किया गया है। इन्हें बीसीजी, चेचक, पोलियो की खुराक, डिप्थीरिया और टिटेनस के पूरे टीके लगाए जा चुके हैं। 2005-06 में यह 43.5% था। टीकाकरण होने की वजह से देश में हर साल 2 साल के कम उम्र के 5 लाख बच्चों की मौत हो जाती है।
डायरिया: दोगुने बच्चों का हुआ इलाज
डायरिया से पीड़ित बच्चों का ओआरएस ट्रीटमेंट 10 साल में दोगुना बढ़ा है। 2005-06 में 26% बच्चों को यह उपलब्ध था, लेकिन 2015-16 में यह करीब दोगुना बढ़कर 50.6% हो गया। डायरिया से लगातार दो हफ्ते पीड़ित 5 साल के बच्चों का आंकड़ा 9% रहा।
ऊंचाई-वजन: कद में उम्र के हिसाब से 10% सुधार, अंडरवेट की संख्या घटी
कम वजन और उम्र के हिसाब से ऊंचाई होने की समस्या का सामना करने वाले 5 साल से कम उम्र बच्चों की संख्या 10% घटी है। यह 48% से घटकर 38.4% हो गई है। अंडरवेट बच्चों की संख्या में भी 7% सुधार हुआ है। हालांकि अभी भी 5 साल से कम उम्र के 35.7% बच्चों का वजन अपनी उम्र के हिसाब से काफी कम है।
फिर भी हम बांग्लादेश, नेपाल, रवांडा से पीछे
पहली बार 1992-93 में किए गए सर्वे (एनएफएचएस-1) में शिशु मृत्युदर प्रति 1000 पर 79 थी। 2015-16 तक 23 साल में इसमें 48% कमी आई। एक साल से छोटे शिशु की मृत्यु दर 41 रह गई। हालांकि इसमें हम बांग्लादेश, नेपाल, रवांडा जैसे देशों से पीछे हैं।
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