हनुमानगढ़। संयुक्त किसान मोर्चा हनुमानगढ़ द्वारा सोमवार को जिला कलेक्ट्रेट पर प्रदर्शन कर महामहिम राष्ट्रपति के नाम जिला कलेक्टर को मोर्चा उठाए जाने के बाद किसानों से लगातार हो रही वादाखिलाफी के खिलाफ रोष स्वरूप प्रदर्शन किया गया। ज्ञापन में बताया कि देशभर के किसानों में तीनों काले कानूनों के विरोध में भारी रोष व्याप्त था संयुक्त किसान मोर्चा ने सरकार के आश्वासन एवं भरोसे पर दिल्ली बॉर्डर से अपनी मौत से उठाने का ऐलान किया उसके बाद सरकार अपने वादों से मुकर ही नहीं गई बल्कि किसानों के जख्मों पर नमक छिड़कने का काम भी कर रही है। रामेश्वर वर्मा ने बताया कि सरकार की वादाखिलाफी के विरोध में पूरे देश में किसानों द्वारा 31 जनवरी 2022 को विश्वासघात दिवस मनाया गया था और हर जिले से राष्ट्रपति के नाम ज्ञापन सौंपा गया था। उन्होंने बताया कि देश के अन्नदाता में सरकार के लिए भारी रोष व्याप्त है। केंद्र सरकार अगर आपने लिखित बातों पर अमल नहीं करती तो किसान मजबूरन पुणे एक विशाल आंदोलन करने को मजबूर होंगे। रेशम सिंह माणुका ने बताया कि किसान अभी तक धैर्य बनाए हुए हैं परंतु यह धैर्य टूटने के बाद सुनामी से बड़ा आंदोलन फिर से देश में खड़ा होगा उन्होंने बताया कि संयुक्त किसान मोर्चा ने 11 से 17 अप्रैल के बीच एमएसपी की गवर्नमेंट गारंटी सप्ताह आयोजित करने का फैसला लिया है अगर तब भी सरकार अपने आश्वासन पर अमल नहीं करती तो किसानों के पास आंदोलन के सिवा कोई दूसरा रास्ता नहीं होगा। केंद्र सरकार अपने किसान विरोधी एजेंडा पर और आगे बढ़ती जा रही है ऑस्ट्रेलिया के साथ मुक्त व्यापार समझौते से डेरी किसान से अस्तित्व पर खतरे के बादल मंडरा रहे हैं। एफएसएसएआई के नए नियम बनाकर जीएम खाद्य पदार्थों को पिछले दरवाजे से घुसाने की कोशिश हो रही है जिसे किसान बिल्कुल बर्दाश्त नहीं करेंगे । इस मौके पर रमनदीप कौर, राय साहब मल्लड़खेड़ा, सुरेंद्र शर्मा, वीरेंद्र सिंह ,लखबीर सिंह,विक्रम नैण, गुरपेन्दर सिंह मान, गुरु जीवन सिंह, बूटा सिंह, श्रमिक नेता गुरनायब सिंह, मुकद्दर अली, जगतार सिंह, गुरुसर, रिछपाल सिंह आदि मौजूद थे
ताजा अपडेट्स के लिए आप पञ्चदूत मोबाइल ऐप डाउनलोड कर सकते हैं, ऐप को इंस्टॉल करने के लिए यहां क्लिक करें.. इसके अलावा आप हमें फेसबुक, ट्विटर, इंस्ट्राग्राम और यूट्यूब चैनल पर फॉलो कर सकते हैं।