क्या आपके वॉट्सएप पर भी आया PM मोदी का ये कार्टून, यहां जानिए इसका वायरल सच

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सोशल मीडिया से: वॉट्सएप और फेसबुक ऐसे माध्यम है जहां जमकर अफवाहों का गर्मागर्म बाजार सजता है। दिनभर में ना जानें कितनी फोटोशॉप की खबरें प्रसारित की जाती है और मजा लूटा जाता है। अब ऐसा ही एक कार्टून पीएम मोदी का वायरल हो रहा है। दरअसल ये कार्टून मोदी सरकार के 3 साल पूरे होने की खुशी में प्रसाद के तौर पर सोशल मीडिया पर बांटा जा रहा है।

जिसमें वो अपनी 56 इंची छाती से मीडिया को दूध पिलाते दिख रहे हैं। कार्टून में महिला के कपड़ों में दिखाए गए मोदी के हाथ में ‘कॉरपोरेट कैंपेन डोनेशन’ का बैग है और मीडिया को बच्चा दिखाया गया है। सबसे बड़ी बात, ये कार्टून अमेरिकी मैगजीन ‘TIME’ के कवर पर छपा दिखता है।

अगर इस कार्टून की समीक्षा करें तो साफ है कि पीएम मोदी के पर्दे के पीछे की छवि सामने लाने की कोशिश की गई है। तो मोदी जी के आगे मीडिया का हाल दूध पीते बच्चे जैसा है और बच्चा कभी मां का विरोध नहीं करता। दूसरी और बैग में उद्योगपतियों का दिया हुआ दान है।

ये हैं इस कार्टून का वायरल सच:

TIME मैगजीन ने मोदी को लेकर ये कार्टून कभी छापा ही नहीं। मई 2012 में मैगजीन ने जो असल कार्टून छापा था, उसमें एक महिला को बच्चे को दूध पिलाते दिखाया गया था। महिला से इशारा उन कॉरपोरेट कंपनियों की तरफ था, जो चुनाव में पार्टियों को डोनेशन देती हैं और दूध पीते बच्चे से इशारा रिपब्लिकन पार्टी कांग्रेस की तरफ था। बच्चे की पीठ पर लिखे GOP का फुलफॉर्म ‘ग्रैंड ओल्ड पार्टी’ है। अगर आप थोड़ी राजनीति गतिविधियों में रूचि रखते है तो आपको पता होगा इस नाम को रिपब्लिकन पार्टी के लिए इस्तेमाल किया जाता है।

कार्टून का असली मकसद:

भारत की तरह सतरंगी राजनीति किसी भी देश में नहीं होती। तभी अमेरिका में दो ही बड़ी पार्टी है। रिपब्लिकन और डेमोक्रेटिक। इन्ही पार्टीयों पर कटाक्ष करने करते हुए। ये कार्टून तैयार किया गया। जिसका मतलब ये बताना था कि कैसे अमेरिका में बड़े कॉरपोरेशन मां की तरह रिपब्लिक पार्टी (बच्चे) को दूध पिलाकर (पैसे देकर) आगे बढ़ा रहे हैं। TIME मैगजीन में ये कार्टून मई 2012 के अंक में छपा था।

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कौन है डेविड होर्सी:

अगर आप गूगल बाबा की मदद लेंगे तो आपको पता चलेंगा ये कार्टून असल में किसने बनाया। थोड़ी जानकारी हम आपको यहां दे भी देते ताकि आपकी जिज्ञासा थोड़ी शांत हो जाए। दरअसल, ये कार्टून डेविड होर्सी ने बनाया था, जो ‘लॉस एंजिलिस टाइम्स’ में एडिटोरियल कार्टूनिस्ट और कॉलमिस्ट है। होर्सी को दो बार पुलित्जर अवॉर्ड से भी नवाजा जा चुका है। उनके बनाए कार्टून्स की आठ किताबें भी छप चुकी हैं।

इन तस्वीरों में मोदी रियल है…

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RTI के अनुसार केंद्र में मोदी सरकार के गठन के बाद 1 जून 2014 से 31 मार्च 2015 तक लगभग 4.48 अरब रुपये खर्च किये गए वहीँ अगले वित्तीय वर्ष 1 अप्रेल 2015 से 31 मार्च 2016 तक विज्ञापनों पर 5.42 अरब रुपये खर्च किये गए जो पिछले वित्तीय वर्ष से अधिक है । इसके साथ ही 1 अप्रेल 2016 से 31 अगस्त 2016 तक 1.20 अरब रुपये खर्च किये जा चुके हैं । इस तरह सरकार बनने के बाद से अगस्त 2016 तक कुल 11 अरब, 11 करोड़ 78 लाख रुपये सिर्फ विज्ञापनों पर खर्च किया गया ।

प्रचार प्रसार के इन माध्यमों पर किया गया इतना खर्च :

एसएमएस 2014 9. 07 करोड़
2015 5.15 करोड़
अगस्त 2016 3. 86 करोड़
इंटरनेट 2014 6. 61 करोड़
2015 14.13 करोड़
अगस्त 2016 1.99 करोड़
ब्राॅडकास्ट 2014 64. 39 करोड़
2015 94.54 करोड़
अगस्त 2016 40.63 करोड़
कम्‍युनिटी रेडियो 2014 88.40 लाख
2015 2.27 करोड़
अगस्त 2016 81.45 लाख
डिजिटल सिनेमा 2014 77 करोड़
2015 1.06 अरब
अगस्त 2016 6.23 करोड़
टेलीकास्ट 2014 2.36 अरब
2015 2.45 अरब
अगस्त 2016 38.71 करोड़
प्राॅडक्शन 2014 8.20 करोड़
2015 13.90 करोड़
अगस्त 2016 1.29 करोड़

 

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