दशहरा के मौके पर भागवत बोले- मणिपुर हिंसा हुई नहीं, करवाई गई, पढ़ें भाषण की मुख्य बातें

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नागपुर में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के मुख्यालय में विजयादशमी के मौके पर आज शस्त्र पूजन किया गया।रेशिमबाग मैदान में RSS चीफ मोहन भागवत (Mohan Bhagwat) ने कार्यक्रम को संबोधित किया। उन्होंने मणिपुर हिंसा, लोकसभा चुनाव, अयोध्या में राम मंदिर के उद्घाटन जैसे कई मुद्दों पर बात की। भागवत ने कहा- कुछ लोग नहीं चाहते कि भारत में शांति हो। समाज में कलह फैलाने की कोशिश हो रही है। कट्टरता से उन्माद फैलता है। इसी की वजह से दुनिया में युद्ध हो रहे हैं।

भागवत ने कहा- दुनिया में भारतीयों का गौरव बढ़ रहा है। हमारा देश हर क्षेत्र में तेजी से तरक्की कर रहा है। दिल्ली में जी-20 समिट का आयोजन हुआ। इसमें विदेशी मेहमानों के सत्कार को लेकर भारत की सराहना हुई। दुनिया ने विविधता से सजी हमारी संस्कृति का गौरव अनुभव किया।

भागवत ने आगे कहा- 2024 में लोकसभा चुनाव होने हैं। लोगों की भावनाएं भड़काकर वोट मांगने की कोशिश नहीं होनी चाहिए, लेकिन ये फिर भी होता है। ये समाज की एकता को चोट पहुंचाती हैं। वोट डालना हर व्यक्ति का कर्तव्य है। देश की एकता, अखंडता, अस्मिता और विकास जैसे अहम मुद्दों को ध्यान में रखकर अपना वोट डालें।

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भागवत का आरोप मणिपुर हिंसा हुई नहीं, करवाई गई
RSS चीफ ने दावा किया कि मणिपुर में हिंसा करवाई गई है। उन्होंने कहा- मणिपुर में मैतेई और कुकी समुदाय सालों से एक साथ रहते रहे हैं। इनके बीच सांप्रदायिक आग कैसे लगी? क्या हिंसा करने वाले लोगों में सीमा पार के कट्टरपंथी भी थे? वहां सालों से सबकी सेवा करने में वाले संघ जैसे संगठन को बिना कारण इसमें घसीटा गया।

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मणिपुर में अशांति और अस्थिरता से विदेशी सत्ताओं को फायदा हो सकता है। देश में मजबूत सरकार के होते हुए भी यह हिंसा किनके बलबूते इतने दिनों से चल रही है? इससे साफ है कि यह हो नहीं रहा है, करवाया जा रहा है।

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सामाजिक अराजकता पर भागवत ने कहा- समाज विरोधी कुछ लोग खुद को सांस्कृतिक मार्क्सवादी या वोक यानी कहते हैं, लेकिन उन्होंने मार्क्स को 1920 दशक से भुला रखा है। वे दुनिया की सभी शुभ चीजों, संस्कृति का विरोध करते हैं। वे लोग अराजकता का प्रचार-प्रसार करते हैं। यह चिंता का विषय है। झगड़े को छोड़कर सुलह पर चलना ही श्रेष्ठता है। हम सब एक ही पूर्वजों के वंशज हैं। एक मातृभूमि की संतानें हैं। हमें इसी आधार पर फिर से एकजुट होना है।


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