संवाददाता शाहपुरा। शाहपुरा भीलवाड़ा श्री घास भैरू का दस दिवसीय महोत्सव देवउठनी ग्यारस के साथ संपन्न जानकारी के अनुसार नरेश कुमार कोली चेतन सिंधी ने बताया कि नगर की सुख समृद्धि और शांति के साथ गांव और नगर असाध्य रोगों से दूर रखने वाले श्री घास भेरू की सवारी परिपाटी अनुसार दीपावली के दूसरे दिन ठीकरा पर बेलों के द्वारा निकाली जाती है और देवउठनी ग्यारस के पश्चात घास भेरू को यथा स्थान पहुंचा दिया जाता है घास भैरू की 10 दिवसीय महोत्सव में कस्बे वासियों ने विधिवत श्री घास भेरू का कामी माली पन्ने लगाकर घास भेरू की पोशाक चढ़ाई जाती है आज महोत्सव के अंतिम दिन के अवसर पर घास भेरू को ऊन की आकर्षक पोशाक विधिवत मंत्रोच्चार के साथ चढाई गई और रात्रि को भगवान के सामने भजन संध्या का आयोजन किया गया आज महा आरती के पश्चात श्री घास भेरू को परंपरा रीति रिवाज के अनुसार रावला घाटा स्थान पर विराजित कर दिया जाएगा गौरतलब है कि सैकड़ों किलो के श्री घास भेरू की पाषाण की मूर्ति होती है कार्यक्रम में नरेश कुमार कोली,अर्पित ठठेरा, महेश सोनी, पुश्पेन्द्र कोली, लालचन्द, सुरेश कहार, गोपाल कहार, सांवरा कहार, महावीर, कहार, चेतन सिन्धी, मुरली ओझा सहित घास भेरु सेवा समिति के सदस्य मौजूद रहे।
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